लापरवाह अफसरों पर कलेक्टर का एक्शन : 21 अधिकारियों को शोकॉज नोटिस, 7 दिन में समाधान के निर्देश

मुंगेली। मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय के सुशासन के संकल्प को जमीन पर उतारने की दिशा में मुंगेली के नवपदस्थ कलेक्टर कुंदन कुमार लगातार प्रशासनिक विभागों की समीक्षा कर रहे हैं। इसी क्रम में उन्होंने आज राजस्व विभाग की समीक्षा बैठक की, जहां समय-सीमा से बाहर लंबित मामलों को लेकर उन्होंने नाराजगी जताई और सख्त तेवर अपनाए।
बैठक के दौरान कलेक्टर ने स्पष्ट शब्दों में कहा कि बार-बार रिमाइंडर देने के बावजूद पुराने मामलों का निराकरण न होना कर्तव्य में लापरवाही और शासन के निर्देशों की अवहेलना है, जिसे बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।
21 अधिकारियों को कारण बताओ नोटिस
कलेक्टर ने इस लापरवाही पर अपर कलेक्टर, एसडीएम, तहसीलदार और नायब तहसीलदारों सहित कुल 21 अधिकारियों को कारण बताओ नोटिस जारी करने के निर्देश दिए। इनमें प्रमुख रूप से:
- अपर कलेक्टर एवं भू-अभिलेख प्रभारी गिरधारी लाल यादव
- एसडीएम लोरमी अजीत पुजारी, मुंगेली पार्वती पटेल, पथरिया अजय शतरंज
- तहसीलदार लोरमी शेखर पटेल, पथरिया छाया अग्रवाल, जरहागांव कमल किशोर, मुंगेली कुणाल पांडेय
- नायब तहसीलदार शांतनु तारम, हरिशचंद्र यादव, प्रकृति ध्रुव, चंद्रकांत चंद्रवंशी
- भू-अभिलेख अधीक्षक ऋचा गुप्ता समेत अन्य अधिकारी शामिल हैं।
7 दिनों की मोहलत, वरना कार्रवाई
कलेक्टर ने सभी राजस्व अधिकारियों को सात दिन की समय-सीमा देते हुए सभी लंबित प्रकरणों के गुणवत्तापूर्ण और प्राथमिकता आधारित निराकरण का निर्देश दिया है। विशेष रूप से एक साल से अधिक पुराने मामलों को जल्द निपटाने के आदेश दिए गए हैं।
उन्होंने यह भी कहा कि यदि नोटिस का जवाब संतोषजनक नहीं पाया गया, तो नियमानुसार कार्रवाई की जाएगी।