भाजपा के पास है चार पावरफुल मिनिस्ट्री, गृह, रक्षा, वित्त और विदेश मंत्रालय है सबसे महत्वपूर्ण

नई दिल्ली : केंद्र में एक बार फिर एनडीए की सरकार बन गई है। इस बार, गठबंधन के दबाव के बावजूद सरकार के चारों बड़े मंत्रालय बीजेपी ने अपने पास रखे हैं। मोदी 3.0 की सरकार में भी गृह मंत्री, रक्षा मंत्री, वित्त मंत्री और विदेश मंत्री वही हैं, जो पहले थे। जानते हैं कि ये चारों मंत्रालय क्या काम करते हैं और क्यों इन्हें सबसे पावरफुल माना जाता है।

गृह मंत्रालय
गृह मंत्रालय का जिम्मा अमित शाह के पास रहेगा। नित्यानंद राय और बंदी संजय कुमार गृह राज्यमंत्री हैं। 2024-25 के लिए गृह मंत्रालय का बजट 2 लाख करोड़ रुपये से ज्यादा है, जो कुल बजट का 4% से अधिक है। गृह मंत्रालय का कार्यभार आंतरिक सुरक्षा, सीमा सुरक्षा, राजभाषा विभाग, राज्य और केंद्र संबंध, और जम्मू-कश्मीर से जुड़े मामलों को संभालना होता है। प्रधानमंत्री की अनुपस्थिति में गृह मंत्री कैबिनेट मीटिंग भी बुला सकते हैं। इसके अलावा, पैरामिलिट्री फोर्सेस की तैनाती, आतंकवाद से जुड़े मामले, और राज्यों के बीच विवाद भी गृह मंत्रालय देखता है।

रक्षा मंत्रालय
राजनाथ सिंह एक बार फिर रक्षा मंत्री के रूप में नियुक्त हुए हैं, और बीजेपी सांसद संजय सेठ राज्य मंत्री हैं। रक्षा मंत्रालय का बजट 6.21 लाख करोड़ रुपये है, जो कुल बजट का साढ़े 12 फीसदी है। रक्षा मंत्रालय का काम बाहरी सुरक्षा की जिम्मेदारी संभालना है। इसमें तीनों सेनाएं, उनके प्रमुख, चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ और इंटीग्रेटेड डिफेंस स्टाफ का मुख्यालय भी शामिल है। सैन्याभ्यास, सुरक्षा और तकनीकी साझा करने, हथियारों की खरीद-फरोख्त, और सेना से रिटायर हो चुके सैनिकों की पेंशन और स्वास्थ्य का काम भी रक्षा मंत्रालय देखता है।

विदेश मंत्रालय
एस. जयशंकर राज्यसभा सांसद हैं और विदेश मंत्री के रूप में अपना कार्यभार संभालेंगे। कीर्तिवर्धन सिंह और पबित्रा मार्गेरिटा राज्य मंत्री हैं। 2024-25 में विदेश मंत्रालय का बजट 22,154 करोड़ रुपये है, जो कुल बजट का 0.46 फीसदी है। विदेश मंत्रालय का मुख्य काम दुनियाभर के देशों के साथ मैत्रीपूर्ण संबंध बनाए रखना है। भारतीय दूतावासों के कामकाज, दूसरे देशों के साथ सीमा, व्यापार और सुरक्षा से जुड़े समझौते, और प्रत्यर्पण के मामलों को देखना विदेश मंत्रालय की जिम्मेदारी है।

वित्त मंत्रालय
निर्मला सीतारमण फिर से वित्त मंत्री के रूप में नियुक्त हुई हैं, और पंकज चौधरी राज्य मंत्री हैं। वित्त मंत्रालय का अपना कोई बजट नहीं होता, लेकिन 2024-25 में वित्त मंत्रालय ने 47.65 लाख करोड़ रुपये का बजट जारी किया था। वित्त मंत्रालय का मुख्य काम देश की पूरी अर्थव्यवस्था को संचालित करना है। सरकार कहां से कमाएगी, कहां खर्च करेगी, ये सब कुछ वित्त मंत्रालय तय करता है। वित्त आयोग केंद्र की टैक्स से होने वाली कमाई में से कितना हिस्सा राज्यों को दिया जाएगा, यह तय करता है। RBI, सरकारी और निजी बैंकों पर भी वित्त मंत्रालय का नियंत्रण होता है। यहां तक प्रवर्तन निदेशालय ( ED) भी वित्त मंत्रालय के रेवन्यू डिपार्टमेंट के अंडर काम करता है।

CCS में शामिल हैं चारों मंत्रालय
कैबिनेट कमेटी ऑन सिक्योरिटी (CCS) में यही चारों मंत्रालय शामिल होते हैं। प्रधानमंत्री इस समिति के अध्यक्ष होते हैं। गृह मंत्री, रक्षा मंत्री, विदेश मंत्री और वित्त मंत्री इस समिति के सदस्य होते हैं। कैबिनेट सचिव, राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार (NSA)और रक्षा सचिव भी इस कमेटी की मीटिंग में समय समय पर शामिल लेते हैं। कानून व्यवस्था और राष्ट्रीय सुरक्षा से जुड़े मुद्दों पर अहम फैसले यही कमेटी करती है। भारत की सुरक्षा से जुड़े अंतर्राष्ट्रीय समझौतों को भी मंजूरी देना भी इसी कमेटी के जिम्मे होता है।

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