रायपुर I श्रद्धा मर्डर केस में पुलिस की जांच जारी है। इस चर्चित हत्याकांड में दिल्ली पुलिस के हाथ एक बड़ा ऑडियो सबूत हाथ लगा है । पुलिस को आफताब का एक ऑडियो मिला है । इसमें आफताब श्रद्धा से लड़ाई झगड़ा कर रहा है. इस ऑडियो में अफताब और श्रद्धा के बीच बहस होती सुनाई दे रही है. दिल्ली पुलिस इन ऑडियो को बड़ा सबूत मान रही है । अधिकारियों का कहना है की इस ऑडियो से हत्याकांड की जांच में कत्ल का मकसद पता करने में काफी मदद मिलेगी।
श्रद्धा वाकर हत्याकांड के आरोपी आफताब पूनावाला को वॉयस सैंपलिंग टेस्ट के लिए सीबीआई मुख्यालय ले जाया गया । पुलिस इसी ऑडियो से आफताब की आवाज का मिलान करने के लिए उसका वॉयस सैंपल लेगी । सीबीआई की सीएफएसएल टीम आफताब का वॉयस सैंपल लेगी।
फॉरेंसिक साइंस लेबोरेटरी (FSL) ने आफताब अमीन पूनावाला की नार्को टेस्ट रिपोर्ट तैयार कर ली है, सूत्रों ने शुक्रवार को यह जानकारी दी । एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने कहा,नार्को टेस्ट की रिपोर्ट तैयार है और जांच अधिकारी को इसकी सूचना दे दी गई है। आफताब पर राष्ट्रीय राजधानी में अपनी लिव-इन पार्टनर श्रद्धा वाल्कर की हत्या करने और उसके शव को क्षत-विक्षत करने का आरोप है।
जंगल से बरामद हड्डियां श्रद्धा की थी
फोरेंसिक अधिकारियों ने आफताब के छतरपुर घर के बाथरूम और रसोई से रक्त के नमूने भी बरामद किए गए थे, जहां पूनावाला और वाल्कर दोनों वारदात से तीन दिन पहले 15 मई को शिफ्ट हुए थे
महरौली वन क्षेत्र से बरामद हड्डी के टुकड़े श्रद्धा के पिता के डीएनए से मिलान कर गए थे, जिससे यह साफ हो चुका था कि आफताब ने हत्या के बाद श्रद्धा के शव के टुकड़ों को जंगलों में फेंक दिया था ।
विशेष पुलिस आयुक्त (कानून व्यवस्था) सागर प्रीत हुड्डा ने कहा कि पुलिस को सीएफएसएल से डीएनए जांच रिपोर्ट और एफएसएल रोहिणी से पॉलीग्राफ जांच रिपोर्ट मिली है।
आरोपी द्वारा खुलासा करने के बाद कि उसने पीड़िता के शरीर के टुकड़ों को जंगल में फेंक दिया था, दिल्ली पुलिस ने हड्डियों के 13 टुकड़े बरामद किए थे । एफएसएल अधिकारियों द्वारा तिहाड़ जेल के अंदर पूनावाला का पोस्ट-नार्को परीक्षण 2 दिसंबर को संपन्न हुआ था. आरोपी को 12 नवंबर को गिरफ्तार किया गया था।
श्रद्धा और आफताब की मुलाकात 2018 में एक डेटिंग ऐप ‘बंबल’ के जरिए हुई थी। इसी साल 8 मई को ये दोनों दिल्ली आए थे।
18 मई को आफताब ने श्रद्धा की हत्या कर दी और उसके शरीर के 35 टुकड़े कर दिए और 18 दिनों में उन्हें विभिन्न स्थानों पर फेंक दिया।