बिलासपुर। ओडिशा से गांजा खरीदकर हरियाणा जा रहे कार सवार युवक को बेलगहना (केंदा) पुलिस ने केंदा के पास घेराबंदी कर गिरफ्तार किया है। आरोपित की कार से 50 किलो गांजा जब्त किया गया है। पुलिस ने आरोपित को न्यायालय में पेश किया है।
बेलगहना चौकी प्रभारी विवेक कुमार पांडेय ने बताया कि पुलिस को सूचना मिली कि कुछ लोग कार से गांजा की तस्करी कर रहे हैं। तस्कर कार में गांजा लेकर बिलासपुर से पेंड्रा की ओर जा रहे हैं। इस पर केंदा पुलिस सहायता केंद्र प्रभारी अशोक मिश्रा के निर्देश पर आरक्षक दीपक उपाध्याय व अन्य ने केंदा मेन रोड में घेराबंदी कर कोरबा पासिंग कार को रोक लिया। कार में हरियाणा के जींद जिला अंतर्गत जुलाना निवासी मनीष पिता कृषन (30) मिला। पूछताछ में वह जवानों को गुमराह कर रहा था। कार की तलाशी में सीट के पीछे छिपाकर रखे 50 किलो गांजा को पुलिस ने जब्त कर लिया। आरोपित को थाने लाकर पूछताछ की गई। इसमें उसने बताया कि ओडिशा के एक युवक की मदद से वह गांजा लेकर हरियाणा जा रहा था। इससे जिला पार करने से पहले ही वह पुलिस की गिरफ्त में आ गया। आरोपित के खिलाफ पुलिस ने एनडीपीएस एक्ट के तहत कार्रवाई की है। आरोपित के साथी की तलाश की जा रही है।
नंबर निकला फर्जी, सीट में बनाया चेंबर
पुलिस ने कार की जांच की तो वह खाली निकला। बारीकी से जांच करने पर पता चला कि युवक ने पुलिस को चकमा देने के लिए पीछे की सीट में एक चेंबर बना रखा है। चेंबर को सीट कव्हर से ढंक दिया गया था। एक नजर में सीट के पीछे बने चेंबर का पता नहीं चल पा रहा था। पुलिस ने चेंबर की जांच की तो पता चला कि अंदर में एक और नबंर प्लेट है। इसे निकालकर छुपाया गया है। इधर कार के सामने लगे नंबर की जांच की गई तो वह फर्जी निकला। पुलिस ने कार को भी जब्त कर लिया है।
आरक्षक का सूचनातंत्र आया काम
गांजा तस्कर को पकड़ने में आरक्षक दीपक उपाध्याय का सूचना तंत्र काम आ गया। पुलिस के मुताबिक, आरक्षक को सूचना मिली थी कि गांजा तस्कर कार से गुजरने वाले हैं। इस पर आरक्षक रातभर अन्य स्टाफ के साथ एक-एक गाड़ी की जांच करता रहा, जिसका परिणाम रहा कि गांजा से भरी कार और तस्कर मिल सके। अंतरराज्यीय गांजा तस्कर को पकड़ने वाली टीम में बेलगहना चौकी प्रभारी निरीक्षक विवेक कुमार पांडेय, एएसआइ अशोक मिश्रा, प्रधान आरक्षक बी केरकेट्टा, भुनेश्वर मरावी, आरक्षक दीपक उपाध्याय, देवेंद्र शर्मा, कौशल बिंझवार, भूपेंद्र पटेल, राकेश पोर्ते और सत्येंद्र राजपूत शामिल रहे।