राष्ट्रीय बाल स्वास्थ्य कार्यक्रम : चिरायु योजना से 2 लाख 17 हजार बच्चों में 51 हैं हृदय रोग से पीड़ित, अब निःशुल्क ऑपरेशन की तैयारी

बतौली। सरगुजा जिले में राष्ट्रीय बाल स्वास्थ्य कार्यक्रम (RBSK) के अंतर्गत चिरायु योजना के माध्यम से दूरस्थ ग्रामीण क्षेत्रों में बच्चों के जीवन में स्वास्थ्य की नई आशा जागी है। कलेक्टर विलास भोसकर संदिपन के मार्गदर्शन में, चिरायु दल द्वारा जन्मजात हृदय रोग से पीड़ित बच्चों की पहचान कर उन्हें आवश्यक चिकित्सा सहायता प्रदान की जा रही है।
इस पहल के अंतर्गत एसईसीएल की परियोजना धड़कन एवं श्री सत्य साईं संजीवनी हॉस्पिटल, नवा रायपुर के सहयोग से अम्बिकापुर मेडिकल कॉलेज के समन्वय में चिन्हांकित बच्चों की काउंसलिंग एवं ऑपरेशन की प्रक्रिया प्रारंभ की गई है। मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. पीएस मार्को के निर्देशानुसार यह विशेष स्वास्थ्य शिविर आयोजित किया गया।
ये हैं विशेष उपलब्धियां
अप्रैल 2024 से मार्च 2025 के बीच 585 गांवों के 2383 आंगनबाड़ी केंद्रों एवं 2074 स्कूलों में कुल 2,17,809 बच्चों की स्वास्थ्य स्क्रीनिंग की गई। इनमें से 51 बच्चों में हृदय रोग के लक्षण पाए गए, जिनमें से 16 बच्चों को ऑपरेशन हेतु श्री सत्य साईं हॉस्पिटल भेजा जाएगा। 14 बच्चों को आगे मेडिकल फॉलोअप की सलाह दी गई है। साथ ही, 21 कुपोषित बच्चों का इको टेस्ट किया गया। जिनमें से 3 बच्चों में हृदय रोग की पुष्टि हुई और शेष बच्चों को एनआरसी में पोषण पुनर्वास हेतु भेजा गया।
ये रहे उपस्थित
इस कार्यक्रम में कार्डियोलॉजिस्ट डॉ. एमएस रविन्द्र, डॉ. निखिल, सिविल सर्जन डॉ. जे.के. रेलवानी, शिशु रोग विशेषज्ञ डॉ. सुमन सुधा, डॉ. अविनाशी कुजूर सहित स्वास्थ्य विभाग के कई वरिष्ठ अधिकारी, चिकित्सक एवं स्थानीय हितग्राही उपस्थित रहे। चिरायु कार्यक्रम, राज्य शासन की महत्त्वाकांक्षी पहल के रूप में शून्य से 18 वर्ष तक के बच्चों को 45 प्रकार की बीमारियों से बचाने के लिए समर्पित है। यह पहल सरगुजा जिले में बच्चों के उज्ज्वल और स्वस्थ भविष्य की दिशा में एक सशक्त कदम सिद्ध हो रही है।