करवा चौथ व्रत पर जरूर लगाएं रजनीगंधा का पौधा, जानें क्या है इसका धार्मिक व ज्योतिष महत्व

हिंदू धर्म में करवा चौथ व्रत का विशेष महत्व है और देश के अधिकांश राज्यों में यह पर्व उत्साह के साथ मनाया जाता है। हिंदू पंचांग के मुताबिक, हर साल कार्तिक मास के कृष्ण पक्ष की चतुर्थी तिथि के दिन करवा चौथ का व्रत मनाया जाता है और पंचांग के अनुसार, इस साल करवा चौथ व्रत 31 अक्टूबर को रात 9.31 मिनट पर शुरू होगी और इसका समापन 1 नवंबर को रात 9.19 मिनट पर होगा। उदया तिथि के मुताबिक, करवा चौथ व्रत इस बार 1 नवंबर 2023, बुधवार को रखा जाएगा। करवा चौथ पर इस बार पूजा का शुभ मुहूर्त शाम 5.45 मिनट से लेकर शाम 7.32 मिनट तक रहेगा।

भगवान भोलेनाथ व माता पार्वती की पूजा

करवा चौथ के दिन सुहागिन महिलाएं अपने पति की लंबी उम्र के लिए भगवान शिव और माता पार्वती की विशेष पूजा अर्चना करती है और शाम को चंद्र दर्शन के बाद अर्घ्य देकर और पति का चेहरा देखने के बाद ही व्रत खोलती है।

करवा चौथ पर लगाए रजनीगंधा का पौधा

पंडित प्रभु दयाल दीक्षित के मुताबिक, करवा चौथ के दिन रजनीगंधा का पौधा लगाना शुभ होता है। पौराणिक मान्यता है कि माता पार्वती को रजनीगंधा के सफेद रंग के रजनीगंधा के फूल काफी पसंद थे। करवा चौथ के दिन रजनीगंधा का पौधा लगाने से पति-पत्नी के बीच प्रेम बढ़ता है।

वास्तु शास्त्र में भी रजनीगंधा का महत्व

इसके अलावा वास्तु शास्त्र में भी बताया गया है कि घर के उत्तर या उत्तर पूर्व दिशा रजनीगंधा का पौधा लगाना शुभ होता है। रजनीगंधा का पौधा लगाने से न सिर्फ मानसिक शांति मिलती है, बल्कि जीवन में आ रही कई बाधाएं दूर हो जाती है। घर में यदि रजनीगंधा का पौधा लगाया जाता है तो परिवार में कभी भी कलह की स्थिति नहीं बनती है।

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