चैत्र नवरात्र प्रारंभ : ऐतिहासिक महामाया मंदिर में चकमक पत्थर की चिंगारी से होगा महाजोत का प्रज्वलन
रायपुर : राजधानी के पुरानी बस्ती इलाके में प्रसिद्ध ऐतिहासिक महामाया मंदिर में आज भी महाजोत का प्रज्वलन चकमक पत्थर को रगड़कर निकलने वाली चिंगारी से करने की परंपरा निभाई जा रही है। महाजोत प्रज्वलित करने के दौरान 10 साल से कम उम्र की बालिका का हाथ लगवाकर प्रधान पुजारी और बैगा महाजोत प्रज्वलित करते हैं। इसके पश्चात महाजोत से अग्नि लेकर 10 हजार से अधिक मनोकामना जोत को प्रज्वलित किया जाएगा। अभिजीत मुहूर्त में महाजोत प्रज्वलित होगी, तत्पश्चात 150 से अधिक सेवादार मनोकामना जोत प्रज्वलित करेंगे।
चैत्र नवरात्र पर सर्वार्थसिद्धि, अमृत सिद्धि योग
चैत्र नवरात्र पर सर्वार्थसिद्घि, अमृत सिद्धि योग ज्योतिषाचार्य डा.दत्तात्रेय होस्केरे के अनुसार चैत्र नवरात्र के पहले दिन सर्वार्थसिद्धि योग और अमृत सिद्धि योग का संयोग बन रहा है। साथ ही रेवती नक्षत्र, अश्विनी नक्षत्र, भी है। इस शुभ संयोग में देवी पूजन करने से परिवार में सुख-समृद्धि बढ़ेगी।
आगमन अश्व पर और प्रस्थान हाथी पर
चैत्र शुक्ल प्रतिपदा पर मां जगतजननी दुर्गा का आगमन अश्व पर हो रहा है और नवरात्र के अंतिम दिन प्रस्थान हाथी पर होगा। अश्व को तेज गति वाला वाहन माना जाता है। यह संकेत दे रहा है कि रूके हुए विकास तेजी से शुरू होंगे। साथ ही आतंकवाद, युद्ध की स्थिति बनेगी और सत्ता के लिए नेतागण राजनीतिक दांवपेंच खेलेंगे।
15 मंदिरों में 50 हजार जोत का पंजीयन
अलग-अलग इलाकों में स्थित 15 से अधिक देवी मंदिरों में 50 हजार से अधिक श्रद्धालुओं ने जोत का पंजीयन कराया है। पुरानी बस्ती के महामाया मंदिर में सबसे अधिक 10 हजार जोत प्रज्वलित होगी। इसके बाद रावांभाठा स्थित बंजारी मंदिर, आकाशवाणी तिराहा पर काली मंदिर, कुशालपुर में दंतेश्वरी मंदिर, ब्राह्मणपारा में कंकाली मंदिर, आमापारा और अमीनपारा के शीतला मंदिर, समता कालोनी के गायत्री शक्तिपीठ सहित अन्य मंदिरों में भी जोत प्रज्वलन की तैयारियां पूरी हो चुकी है।